मायापुरी अंक 44,1975
लेखकों की बात पर सलीम-जावेद याद आ गये। अब तक हर जगह ये लोग अमिताभ बच्चन के सर पर चढ़ाते रहे हैं और अमिताभ निर्माताओं पर ज़ोर डालते रहे हैं कि मुझे लेना हो तो पहले सलीम-जावेद को साइन करो। लेकिन ‘दीवार’ के बाद अमिताभ का व्यवहार बदल गया है उन्हें ‘सलीम-जावेद’ के लिए हम अन्नदाता है जैसा स्वाभाव पसंद नही। वे शायद ये साबित करना चाहते हैं कि उनके बगैर भी वे शिखर पर रह सकते हैं। इसलिए अब उन्होंने निर्माताओं पर सलीम-जावेद को लेने के लिए जोर डालना भी बन्द कर दिया है। उनका मिलना जुलना भी बहुत कम हो गया है और आपको पढ़कर हैरानी होगी कि ये खबर देने वाले हैं म्यूजिक डायरेक्टर शंकर (शंकर-जय किशन)