थिएटर, फिल्म, पद्मश्री और ज्ञानपीठ पुरस्कृत कलाकारों की सोच भी देश-द्रोही हो सकती है? By Mayapuri Desk 18 Jun 2019 | एडिट 18 Jun 2019 22:00 IST in एडिटर्स पिक New Update Follow Us शेयर स्वर्गीय अभिनेता गिरीश कर्नाड की मौत पर आयी प्रतिक्रियाओं ने देशभक्त समाज की सोच को आंदोलित कर दिया है- क्या कलाकार भी अपने अन्तह में राष्ट्रहित के खिलाफ जाने की सोच रख सकते हैं? बेशक इस विषय को इंगित करते हुए आमिर खान की एक फिल्म ‘सरफरोश’ आ चुकी है जिसमें नसीरूद्दीन शाह फिल्म के विलेन होते हैं और उनके करेक्टर को शायर के रूप में पोट्रेट किया गया होता है। तब, इस फिल्म को लेकर तत्कालिक प्रतिक्रियाओं में यह बात मुख्य रूप से उठाई गयी थी कि इससे तो कलाकार कौम बदनाम होती है! अब गिरीश कर्नाड की मौत पर भी वैसी ही टिप्पणियां सोशल मीडिया पर प्रखर हुई हैं। गिरीश कर्नाड ऐसे अभिनेता थे, शायद ही उनके जितनी डिग्रियां आज भी किसी अभिनेता के पास हो! वह ऐसे अभिनेता थे जो रंगमंच, सिनेमा, संगीत, साहित्य और सामाजिक सोच पर प्रखर पकड़ रखते थे। वह पद्मश्री, पद्म विभूषण, साहित्य अकादमी, ज्ञानपीठ सम्मान से सम्मानित कलाकार थे। प्रबुद्ध फिल्मकारों की फिल्मों में उनका लिया जाना एक सम्मान जनक‘कास्टिंग’ किया जाना होता था। वहीं गिरीश कर्नाड की जीवन शैली का दूसरा पक्ष उनको देशद्रोह को बढ़ावा देने की छवि देने वाला बनकर सामने आया है। बताते हैं बंगलौर एयरपोर्ट का नाम बदलवाने में कर्नाड का आंदोलन भी एक वजह था। पहले इस एयरपोर्ट का नाम अत्याधिक सामाजिक सोच वाले शासक कैम्पेगौड़ा के नाम पर रखा गया था। गिरीश कर्नाड ने मांग उठाई कि एयरपोर्ट का नाम टीपू सुल्तान के नाम पर किया जाए। कर्नाड की नजर में कैम्पेगौडा, छत्रपति शिवाजी, महाराणा प्रताप आदि के नामों से श्रेष्ठ नाम था टीपू सुल्तान का। इस बात को लेकर एक लम्बा आंदोलन चला था। हजारों की संख्या में जनता सड़कों पर उतर आयी थीं कर्नाड के पुतले फूंके गए थे... और कर्नाड को माफी मांगने के लिए मजबूर होना पड़ा था। पिछले दिनों लोकसभा चुनाव में हार का सामना करके शर्मसार हुए कन्हैया कुमार ने जब श्रछन् में आंदोलन कराकर नारा दिया था- ‘भारत तेरे टुकड़े होंगे’ और ‘भारत की बर्बादी तक जंग चलेगी- जंग चलेगी’ तब गिरीश कर्नाड कन्हैया के साथ थे। वह बंगलौर में रहकर कन्हैया के समर्थन में धरना प्रदर्शन और अनशन किए थे। और पाकिस्तान परस्त अफजल गुरू की फांसी की सजा के खिलाफ अरूंधति राय के साथ कंधा से कंधा मिलाकर वह सरकार के विरोध में उतर पड़े थे। गिरीश कर्नाड की आत्मा को ईश्वर शांति दे, लेकिन वह जीवन में अंदर से बहुत अशांत थे जब हेमा मालिनी-धर्मेन्द्र का अफेयर जोरों पर था, एक खबर के मुताबिक कर्नाड अपना साउथ इंडियन दबाव हेमा की मां जया पर डालकर हेमा से विवाह करना चाहते थे। बेशक वह अच्छे कलाकार, लेखक, विद्वान थे लेकिन कहीं न कहीं उनमें देश-द्रोह के कीटाणु कुलबुलाते थे। और, यही कुलबुलाहट उनकी मौत के बाद कलाकार समाज को आशंकित कर रही है कि क्या कलाकार भी...? अपने जीवन में अंदर से बहुत अशांत रहे गिरीश कर्नाड की आत्मा को ईश्वर शांति प्रदान करे। #bollywood #Girish Karnad हमारे न्यूज़लेटर की सदस्यता लें! विशेष ऑफ़र और नवीनतम समाचार प्राप्त करने वाले पहले व्यक्ति बनें अब सदस्यता लें यह भी पढ़ें Advertisment Latest Stories Read the Next Article