संपादकीय
देश के सर्वोच्च सम्मान ‘भारत रत्न’ और ‘पद्म-अवॉर्डों’ की चर्चा से बॉलीवुड में भी सुगबुगाहट रही है। जिस तरह राजनीति में माननीय प्रणब मुखर्जी और सामाजिक जीवन में नानाजी देशमुख को ‘भारत रत्न’ दिये जाने पर प्रतिक्रियाएं आयी हैं, वैसे ही बॉलीवुड में भी सवाल खड़े किये गये हैं कि गायक भूपेन हजारिका को ‘भारत रत्न’ का सम्मान दिया जा सकता है तो फिर अमिताभ बच्चन को क्यों नहीं? भूपेन दा निश्चय ही एक बेहतरीन संगीत क्रिएटर थे और आवाज के भी धनी थे, मगर वह एक क्षेत्र-विशेष तक ही थे। असम के लोगों को यह सम्मान सचमुच गौरव प्रदान करता है मगर समूचे देश का और विदेशों में ख्याति प्राप्त स्टार अमिताभ बच्चन को यह सम्मान क्यों नहीं दिया जाता?
वैसे तो, पदम-अवॉर्डों (पदमश्री, पदम भूषण और पदम-विभूषण) से बच्चन साहब तथा कई फिल्मी हस्तियां पहले से सुशोभित हैं और देश का चौथा बड़ा अवॉर्ड ‘पदमश्री’ तो हर वर्ष प्रसाद की तरह फिल्मवालों में वितरित किया जाता है। एक लम्बी फेहरिस्त है फिल्मवालों को पद्मश्री दिये जाने की। इस बार यह सम्मान पाने वाले रहे हैं - अभिनेता मनोज बाजपेयी, प्रभुदेवा, गायक शंकर महादेवन और वरिष्ठ अभिनेता मोहनलाल। स्व. कादर खान और थियेटर कर्मी दिनयार कांट्रेक्टर को यह सम्मान देने में बहुत देर कर दी गई है, जिस पर बहुतों ने प्रतिक्रिया जताई है। बेशक भूपेन हजारिका को भारत रत्न दिये जाने पर संतुष्टि सबने जताई है मगर पक्षपात या राजनैतिक- सोच का मुलम्मा उनके नाम पर भी जुड़ा है। सीधा सवाल लोग कर रहे हैं फिल्म उद्योग के पितामह दादा साहब फालके (जिनके द्वारा बनाई गई राह पर हजारों घरों के चूल्हे जलते हैं) को भारत रत्न कब दिया जाएगा? चुनाव किए जाने के समय - चयन प्रक्रिया में अमिताभ बच्चन का नाम आगे क्यों नहीं आता- जो सदी के स्टार कहे जाते हैं?.. बहरहाल हम सभी विजेताओं (सॉरी...सम्मान-धारकों!) को बधाई देते हैं! जय हिन्द !!
- संपादक