Birthday Special: आशुतोष गोवारिकर, हम फिल्में बनाएंगे जी जान से By Mayapuri Desk 15 Feb 2022 in गपशप New Update Follow Us शेयर अली पीटर जॉन आशुतोष ने भले ही अनगिनत नैशनल और इंटरनेशनल अवार्ड्स जीते हैं, उनकी फिल्म लगान के लिए उनको ऑस्कर नॉमनैशन भी मिला है लेकिन आर्ट डायरेक्टर नितिन देसाई – जिन्होंने एक से बढ़कर एक फिल्में बनाई हैं – जोधा अकबर की शूटिंग के दौरान जो आशुतोष केलिए बोले (जोधा अकबर ऑल्मोस्ट उनके एनडी स्टूडियो में भी शूट हुई थी) वो किसी भी अवॉर्ड-रिवार्ड से बढ़कर है। उन्होंने कहा था “ऐसी फिल्म बनाने के लिए जिगरा चाहिए, ऐसी फिल्म बनाने के लिए जोश और दीवानगी चाहिए और ये गुण सिर्फ और सिर्फ आशुतोष गोवारिकर में मैंने देखा है” कई बार जाने कैसे सिर्फ एक मुलाकात ही किसी से ऐसी होती है जो दोस्ती में बदल जाती और वो दोस्त बहुत बड़े-बड़े बदलाव ले आते हैं। आमिर खान और आशुतोष गोवरिकार, दो युवा कलाकार केतन मेहता की होली के लिए शूटिंग कर रहे थे और वहीं वो ऐसे दोस्त बने जिन्होंने भारतीय सिनेमा के इतिहास में बहुत उलटफेर कर दिया। मुझे तो समझ ही नहीं आता कि उनका दिमाग कैसे ये सब हैन्डल कर लेता है आशुतोष को देखकर कोई भी कह सकता है कि उन्हें इतिहास बहुत पसंद है, उनकी फिल्में देख भी ऐसा ही लगता है। वो इतिहास के कुछ पन्नों को पलटते हैं, उन्हें बाँचते हैं और फिर कुछ ऐसा कमाल करते हैं कि इतिहास को फिर एक बार जीने के लिए साँसे मिल जाती है। उन्होंने अबतक जो भी फिल्में इतिहास की पृष्टभूमि पर बनाई हैं, जिनमें जोधा अकबर, मोहेनजों-दारो और पानीपत है शामिल हैं। ऋतिक रोशन जो जोधा अकबर में अकबर का किरदार निभा रहे थे, एक दफा बोले “मुझे तो समझ ही नहीं आता कि आशुतोष का दिमाग कैसे ये सब हैन्डल कर लेता है। इतना पैसा, इतना डिसिप्लिन, इतनी मेहनत वो इन फिल्मों को बनाने में लगाते हैं जहां इस बात की कोई गारंटी भी नहीं होती कि लगाया पैसा लौट ही आयेगा। मैं दुआ करता हूँ कि आशुतोष यूं ही ऐसी फिल्में बनाते रहे जो कलाकारों को, लेखकों को एक नया चैलेंज देती रहे और इंडियन सिनेमा का नाम ऊंचा होता रहे। मैं आशुतोष के जज़्बे को सलाम करता हूँ। जैसे ऋतिक ने आशुतोष के बारे में अपने ख्याल व्यक्त किए ऐसे हर कोई तो नहीं कर सकता लेकिन उनके साथ काम करने वाले हर शख्स का ख्याल कमोबेश सें ही होगा। किसी एक जगह कहा था कि “आशुतोष गोवारिकर मॉडर्न युग के महबूब खान और के आसिफ का कॉमबीनेशन है' सबका ख्याल रखते हैं आशुतोष आशुतोष द्वारा इतिहासिक फिल्में बनने का एक मेजर बेनीफिट ये भी होता है कि सैकड़ों, बल्कि कई बार तो हज़ारों आदमियों, औरतों और बच्चों (आर्टिस्टस) को अच्छी दिहाड़ी पर अच्छा काम मिल जाता है। एक घोड़े वाले ने कहा था “आजकल घोड़ों को कोई पूछता नहीं, घोड़े और इंसान दोनों ही बेकार और भूखे भी हैं, एक यही आशुतोष हैं जो ऐसी फिल्में बनाते हैं कि सबका भला हो जाता है” अभिनेताओं को ऐसा रोल देने के लिए भी आशुतोष को जाना जाता है जैसा रोल उन्हें और कोई फिल्ममेकर नहीं दे पाता। इसीलिए वो आशुतोष की फिल्म में कहीं कम फीस में भी काम कर लेते हैं जो उन्हें बाकी फिल्ममेकर्स से मिलती है। बहुत से हीरोज तो ऐसे किसी मौके का बाकायदा इंतज़ार करते हैं। आशुतोष ने इंडस्ट्री को बड़ी अभिनेत्रियाँ भी दी हैं जिनमें ऐश्वर्या राय, प्रियंका चोपड़ा के वो रोल भी शामिल हैं जिनमें पैसे के पीछे भागती किसी गुड़िया की बजाए उन्हें एक बेहतर अभिनेत्री की तरह बेहतर पहचान मिलती है। लेकिन आशुतोष ने हल्की फुलकी फिल्में भी बनाई हैं, जिनमें खेलें हम जी जान से, व्हाट्स योर राशि, और कुछ और फिल्में शामिल है लेकिन ये फिल्में बॉक्स ऑफिस पर उतनी कामयाब नहीं हो पाईं जितनी उनकी बाकी बड़ी, इतिहासिक फिल्में हुई हैं। आशुतोष की पिछली फिल्म पानीपत सफल नहीं हो पाई लेकिन वो फिर भी एक और बड़ी, भव्य और पिछली से ज्यादा कठिन फिल्म प्लान कर रहे हैं। मगर फिर राजीव की पिछले हफ्ते आकस्मि)क मृत्यु हो गई और उनकी मौत ने ये एक बार फिर याद दिला दिया कि फिल्म बनाना बहुत बहुत मुश्किल काम है। लेकिन जैसा आशुतोष ने कहा था “खेलें हम जी जान से” तो फिल्मों से जूझने का आशुतोष का ये खेल जारी रहेगा। #Aishwarya Rai #Aamir Khan #Hrithik Roshan #Ashutosh Gowariker #Birthday Special #आशुतोष गोवारिकर हमारे न्यूज़लेटर की सदस्यता लें! विशेष ऑफ़र और नवीनतम समाचार प्राप्त करने वाले पहले व्यक्ति बनें अब सदस्यता लें यह भी पढ़ें Advertisment Latest Stories Read the Next Article