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लिपिका वर्मा
निर्देशक आनंद एल राय ‘तनु वेड्स मनु’ फिल्म से लाइम लाइट में आये। आनंद जी हमेशा से ही अलग संकल्पना की फ़िल्में बनाने की कोशिश करते आये है। फिर चाहे वह ‘राँझणा’ फिल्म हो या फिर ‘शुभ मंगल सावधान’ और अब फिल्म ‘जीरो’ जिसमें शाहरुख़ खान एक वर्टिकली चैलेंज्ड किरदार निभा रहे हैं।
पेश है निर्देशक आनंद एल राय से लिपिका वर्मा की बातचीत के कुछ अंश
फिल्म ‘जीरो’ किस तरह अलग होगी? इस फिल्म को बनाने में कितनी दिक्कतों का सामना करना पड़ा?
- जी यह फिल्म बनाना आसान नहीं था। अलग नहीं कहूंगा, यही कहूंगा कि यह फिल्म सच्ची दिखेगी। यह एक वर्टिकली चैलेंज्ड “ शख्स पर बनी एक फिल्म है। ‘वी एफ़ एक्स’ का प्रयोग किया गया है। मेरे लिए एक रियल (असली) कहानी है। हमारे लिए यह फिल्म बनाना चैलेंजिंग रहा किन्तु ऑडियेन्स के लिए नई पेशकश होगी। उनके लिए एक ऐसी कहानी है जो उन्होंने पहले नहीं सुनी होगी।
आपके लिए कहानी या फिर स्टार महत्वपूर्ण है?
- मेरे लिए हमेशा कहानी महत्वपूर्ण होती है। पर कहानी की जरूरत शाहरुख़ खान थे।
आपने सलमान खान को पहले सुनाई थी फिर क्या हुआ? क्या ‘ट्यूबलाइट’ में भी उनका फिजकली चैलेंज्ड किरदार रहा और वह फिल्म लोगों को पसंद नहीं आयी इसीलिए उन्होंने नहीं की फिल्म ‘जीरो’?
- जी हाँ यह कहानी मैंने सलमान खान से डिस्कस जरूर की थी। आपको बता दूँ मेरी उनसे मुलाकात उनकी फिल्म ‘ट्यूबलाइट’ रिलीज़ से लगभग 6 महीने पहले हुई थी। उन्हें सुनाई थी।
क्या शाहरुख़ खान को एक निर्देशक का एक्टर कहा जा सकता है ?
- उनके साथ काम कर के यह महसूस हुआ कि वह अपने साथ कहानी के लिए कुछ न कुछ ले ही आते है। वह बहुत ही आज्ञाकारी अभिनेता है। उनका चार्म और स्टारडम बहुत ही असली है। वह एक बहुत ही सिक्योर अभिनेता है। डिस्कस तो जरूर करते हैं और क्रिएटिव में बिल्कुल भी दखलंदाज़ी नहीं करते हैं। सेट पर पूरी तरह से कहते हैं यह अब निर्देशक का स्पेस है। यह वर्टिकली चेंज्ड किरदार करने की जो उन्होंने चुनौती ली है और कोई नहीं ले सकता था।
शाहरुख़ खान की हालिया रिलीज फिल्मो ने बॉक्स ऑफिस पर कुछ ज्यादा अच्छा नहीं किया था, और उन्हें रोमांटिक किरदार में लोग पसंद करते हैं। यह किरदार में वो कितना पसंद किये जा सकते हैं ?
- क्या यह कम है कि इसके बाद भी वह इस अलग तरह के किरदार को करने के लिए तैयार हो गए है। आज कल ऑडियन्स को कुछ अलग देना होता है इसी को मद्देनजर रखते हुए और क्योंकि वो बिल्कुल भी इन्सेक्योर एक्टर नहीं है, सो उन्होंने वर्टिकली चैलेंज्ड किरदार करने की हिम्मत की है। यह और कोई नहीं कर पाता। बस वह हमेशा अपने फैंस को अलग और बेहतर फ़िल्में देने की कोशिश करते हैं।
शाहरुख़ खान, अनुष्का और कैटरीना आपके साथ काम पहली बार कर रहे हैं कोई दिक्कत नहीं आयी उनके साथ काम करने में ?
- जी नहीं! मुझमें एक बहुत बुरी आदत है जब तक मैं अपने काम, करने और जिनके साथ काम कर रहा होता हूँ, उनसे प्यार न करूँ तो सही ढंग से काम नहीं कर पाता हूँ। खान साहब अपने काम को लेकर बहुत ही पैशनेट है और अनुष्का एवं कैटरीना बहुत ही ईमानदार है। उन्हें जो कुछ भी कहना होता है साफ साफ कह देती है। और मैं भी ऐसा ही हूं। किसी ने भी टैंट्रम थ्रो नहीं किया।
शायद आप हिट फिल्मों का बैगेज लेकर इनके साथ काम कर रहे सो वह लोग आपकी बात मानते हो?
- हाँ यह भी हो सकता है। किन्तु 2-4 दिन में रिश्ते कैसे बनते हैं उससे मालूम पड़ जाता है। जैसा कि मैंने कहा बिना प्यार में रहे मैं काम नहीं कर सकता हूँ। उसी तरह मुझे यह मालूम हुआ -यह सब अभिनेता मेरे साथ बहुत ही नार्मल हो कर सच्चाई से और लग्न से काम कर रहे थे। सो ऐसे माहौल में बहुत अच्छा लगता है काम करने में।
क्या आप यह मानते हैं कंगना रनोट को फिल्म ‘तनु वेड्स मनु’ से आपने एक स्टार बना दिया ? इस फिल्म के बाद कंगना लाइम लाइट में आयी ?
- मैं भी इसी फिल्म से लाइमलाइट में आया न!! हंस कर बोले आनंद जी। सबके साथ काम करने में एक अलग अनुभव रहता है। हम-कंगना और मैं ‘तनु वेड्स मनु रिटर्न्स’ में कुछ अलग करने की कोशिश कर रहे थे। कुछ अलग ढूंढ रहे थे और सफल भी हुए। सबकी जर्नी अलग अलग रहती है। पर हाँ यदि फिल्म हिट होती है तो अच्छा महसूस होता है। और हम सब हमेशा अपनी तरफ से अच्छा काम करने की ही कोशिश करते हैं।