उम्मीद की जा रही थी कि सनी देओल अब निर्देशक के तौर पर सामने आएंगे क्योंकि वह अपने बेटे की लॉन्चिंग के लिए फिल्म लगभग कंपलीट कर चुके हैं, पर इससे पहले ही बतौर अभिनेता के रूप में वह दर्शकों के सामने आ रहे हैं। फिल्म ब्लैंक उनकी आगामी फिल्म है जिसमें उनके साथ सिंपल कपाड़िया के बेटे करण कपाड़िया भी रूपहले परदे पर दस्तक देने जा रहे हैं। इस फिल्म में करण के साथ इशिता दत्ता नजर आएंगी। खास बात यह है कि इस फिल्म में सनी देओल का भी अहम रोल है। फिल्म के ट्रेलर लॉन्च पर सनी देओल से बातचीत का मौका मिलाः
-फिल्म ब्लैंक में दर्शकों के लिए क्या खास है?
इसका खास कारण फिल्म की कहानी है। कहानी सुनकर मैं इस फिल्म को करने के लिए बेसब्र हो गया। इस फिल्म के जरिए मैं और करण दोनों साथ जुड़े हैं, ये भी एक खास बात है।
-किस आधार पर आप फिल्मों का चुनाव करते हैं?
सबसे पहले मैं कहानी को देखता हूं और उसी के बाद आगे बढ़ता हूं। कहानी अच्छी होगी, तो फिल्म सही तरह से शेप लेगी। फिल्म की जान होती है कहानी। मैंने कई ऐसी फिल्में की है जिसके लिए जाना जाता हूं और अगर ऐसा नहीं होता तो वो फिल्में भी नहीं करता।
-आपकी नज़र में ज़िंदगी के मायने क्या हैं?
मैं कभी अपने काम से थकता नहीं हूं और न ही पीछे हटता हूं। पोजिटिव सोच के साथ हमेशा सोचता हूं कि अभी और आगे जाना है। लाइफ में ऐसा करना है। आपको अपने काम से प्यार होना चाहिए। जब आप खुद में यकीन खोने लगते हैं तो जिंदगी बोरिंग हो जाती है। मैं जिस इंडस्ट्री से जुड़ा हूं वो काफी खूबसूरत है और यहां काम करना अच्छा लगता है।
-सोशल मीडिया पर आप कितना एक्टिव रहते हैं?
यह सही है कि मैं सोशल मीडिया पर इतना एक्टिव नहीं रहता हूं। अगर रहता तो जरूर बताता। वैसे हर कोई ब्लैंक हो जाता है किसी चीज को लेकर। मुझे लगता है जो चीजे यहां छुपी हैं वो दिखेगी।
-करण कपाड़िया को लेकर आप क्या कहना चाहते हैं?
आजकल के लड़के काफी टैलेंटेड हैं और अच्छी तरह सीखकर आ रहे हैं। करण भी अच्छी तैयारी करके आया है। वह प्रोजेक्ट के बारे में बखूबी जानता है। इसलिए वो कैरेक्टर में अच्छी तरह ढल पाया। उन्होंने बेहतरीन काम किया है।
-आजकल वीएफएक्स का जमाना है। ऐसे में आप एक्शन करते हैं तो वो बिल्कुल रॉ यानि इनके बिना होता है। तो क्या आप ऐसा करने का सुझाव देते हैं?
मेरा मानना है कि फिल्म में जो भी करें सच लगना चाहिए। जब मैं इस इंडस्ट्री में आया सबकुछ रॉ ही था। एक्शन सही लगाना चाहिए इसलिए मैं ऐसा करता हूं।
-इन दिनों देशभक्ति की लहर है और ऐसी ही फिल्में बन रही हैं। पहले और अबकी ऐसी फिल्मों में आप क्या फर्क देखते हैं?
सबसे पहले तो आपको यह सोचना होगा कि क्या हम देशभक्त हैं? कितने सच्चे हैं? मैंने जो किया किरदार पर पूरा भरोसा था। आजकल मार्केटिंग का जमाना हो गया है। जिस चीज का सीजन चलता है उस पर फिल्में बन जाती हैं।
-नई जेनरेशन काफी जोशीली और पूरी तैयारी के साथ आ रही है। आज और कल के कलाकारों में क्या फर्क देखते हैं?
ऐसा कुछ नहीं है जो पहले था वो अब भी है। हां, अब जागरूकता और टेक्नॉलीजी ज्यादा हो गई है। बाकी एक्शन हो या इमोशन्स सभी को दर्शाने का एक ही तरीका है।
-नए कलाकार आपके साथ काम करते वक्त काफी डरते क्यों हैं?
ऐसा कुछ नहीं है कि वो मुझसे डरते हैं। मैं ही उनसे डरता हूं। इस फिल्म में भी हमने एक परिवार की तरह काम किया।