लिपुलेख पर मनीषा कोईराला के ट्टीट का किसी ने किया समर्थन तो कुछ ने किया जमकर विरोध
भारत और नेपाल के बीच लिंपियाधुरा, लिपुलेख और कालापानी इलाके को लेकर विवाद किसी से छिपा नहीं है। लेकिन अब इसके और भी गहराने की आशंका बढ़ गई है। ऐसा हम क्यों कह रहे हैं ये तो हम आपको बताएंगे ही लेकिन उससे पहले ये बता दें कि लिपुलेख पर मनीषा कोईराला नेपाल का समर्थन करके ट्रोल हो गई हैं।
जी हां...नेपाली मूल की एक्ट्रेस मनीषा कोईराला ने नेपाल का समर्थन क्या किया वो ट्रोलर्स के निशाने पर आ गई हैं।
क्या है पूरा मामला..जानें
दरअसल, नेपाल के विदेश मंत्री प्रदीप ग्यावली ने एक ट्वीट किया था। जिसमें उन्होने जानकारी दी थी कि मंत्रिपरिषद ने अपने 7 प्रांतों, 77 जिलों और 753 स्थानीय प्रशासनिक प्रभागों को दिखाते हुए देश का एक नया नक्शा प्रकाशित करने का फैसला किया है। इसमें 'लिंपियाधुरा, लिपुलेख और कालापानी' भी शामिल हैं। इस ट्टीट में ये भी बताया गया कि आधिकारिक नक्शा जल्द ही देश का भूमि प्रबंधन मंत्रालय प्रकाशित करेगा। अभिनेत्री ने इसी ट्वीट पर रिट्वीट किया था। जिसको लेकर वो ट्रोल हो गईं।
क्या कहा था मनीषा कोईराला ने?
लिंपियाधुरा, कालापानी और लिपुलेख पर मनीषा कोईराला ने नेपाल की सरकार को धन्यवाद दिया और साथ ही कहा कि भारत, नेपाल और चीन 'सभी तीन महान देशों' के बीच शांतिपूर्ण और सम्मानजनक बातचीत की उम्मीद करती हूं। बस फिर क्या था। अभिनेत्री के इस ट्वीट पर रिएक्शन की बाढ़ सी आ गई। लोग उन्हे ट्रोल करने लगे। लोगों ने मनीषा के इस ट्वीट के बहाने नेपाल को भी खूब खरी खोटी सुना दी।
क्या है भारत-नेपाल के बीच ये विवाद?
इस पूरे विवाद की बात करें तो इसका इतिहास 200 साल से भी ज्यादा पुराना है। 1816 में ब्रिटिश के हाथों नेपाल के राजा कई इलाके हार गए थे जिनमें लिपुलेख और कालापानी भी शामिल हैं। इसका पूरा ज़िक्र सुगौली की संधि में मिलता है। हालांकि दोनों ही देशों की इस पर अपनी अपनी अलग अलग दलील हैं। और दोनों ही आपसी बातचीत से इसका हल निकालने की पैरवी करते आए हैं। लेकिन अब नेपाल के रुख में थोड़ा बदलाव देखा जा रहा है। नेपाल ने ना केवल चांगरु में कालापानी के नजदीक आर्म्ड पुलिस फोर्स का आउटपोस्ट बनाया है। बल्कि अब एक नया नक्शा भी बना लिया है। जिसे वो जल्द ही रिलीज़ करेगा।
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