जयाप्रदा अपने ढंग की एक अकेली नायिका हैं वो जब जो काम करती हैं पूरे मन से करती हैं. कभी साउथ की फिल्मों का स्टारडम पीछे छोडकर वह बॉलीवुड में आई थी. फिर बॉलीवुड के कामयाब कैरियर और टॉप की स्टारडम से दूर होकर वह पोलटिक्स से जुड़ गई. एमपी और पूर्व राज्यसभा सांसद के रूप में राजनीति में वह अपना अलग मुकाम तैयार की. अब वह फिर एकबार पर्दे पर वापसी करने जा रही हैं. ओटीटी चैनल पर शीघ्र प्रक्षेपित होने जा रहे वेब सीरीज 'फातिमा' में वह मुख्य प्रोटोगोनिस्ट 'फातिमा' का किरदार निभा रही हैं. इस सीरीज के द्वारा जयाप्रदा अपने जीवन मे पहली बार किसी मुस्लिम कैरेक्टर को पर्दे पर अभिनित करने जा रही हैं. 'फातिमा' के प्रथम सीजन की दस कड़ियां बनकर तैयार है और इसी महीने से एक बड़े ओटीटी प्लेटफॉर्म पर स्ट्रीम होने की तैयारी पर है.
पिछले दिनों इस वेब सीरीज का पोस्टर लांच किया गया. पोस्टर में दिखाया गया है कि एक महिला जो काले बुरखे में है, हाथ मे गन उठाए हुए है. यह जयाप्रदा हैं! वह कहती हैं - "बॉलीवुड फिल्म इंडस्ट्री मेरा घर है.मैं हमेशा यहां अपने लिए एक कम्फर्ट जोन महसूस करती हूं." वेब सीरीज 'फातिमा' के दूसरे कलाकार हैं हितेन तेजवानी, कायनात अरोरा, बरखा बिष्ट, बंटी चोपड़ा, अमित जे.शर्मा आदि. सीरीज के लेखक निर्देशक हैं संजीव राय और निर्माता हैं फर्स्ट हैंड एंटरटेनमेंट और डी एस चावला.
यह सीरीज आज के जोनर की कहानी है. रेप रिवेंज ड्रामा है. "एक मां अपनी बेटी से बलात्कार करने वालों के पीछे रिवेंज लेने के लिए लगी है." बताते हैं लेखक निर्देशक संजीव राय. हितेन तेजवानी एक ईमानदार पोलिस अधिकारी हैं जो तहकीकात पर हैं और शक के फंदे में उनकी पत्नी कायनात अरोरा आगयी हैं. बरखा बिष्ट का एक महत्वपूर्ण किरदार है.सारी कड़ियाँ जुड़ती हैं फातिमा की तरफ. जयाप्रदा कहती हैं- "आज का सिनेमा बदल गया है. तकनीक मेकिंग और स्टोरी टेलिंग सब अलग है बट इसेन्स इज सेम !"
जयाप्रदा को 'फातिमा' का रोल कराने के लिए तैयार कैसे कराया? इसपर संजीव राय बताते हैं- "जया जी पहली बार पर्दे पर मुस्लिम किरदार कर रही हैं. वह अपने जीवन मे पहले कभी मुलिम रोल नहीं की हैं. आजकल वह बीजेपी में हैं और कोई बीजेपी नेता पर्दे पर मुस्लिम करेक्टर करे यह भी एक आकर्षण की बात है !" संजीव कहते हैं. " एक मुलाकात में उनको कहानी सुनाया और उनको पसंद आगया.बोली- " मेरी वापसी के लिए अब कोई और कहांनी सुनने की जरूरत नहीं रह गयी है. इस कहानी में एक मैसेज है, मैं चाहूंगी इसे करुं ", और इस तरह जया जी 'फातिमा' बन गयी." संजीव राय इससे पहले हिंदी और बंगाली में फिल्मे दे चुके हैं. उनकी हिंदी फिल्म थी - 'जी लेने दो एक पल' और बंगला फिल्म थी 'अमी जो तोमार' जो फिल्म समारोहों में बहुत सराही गयी है. वैसे किसी वेब सीरीज के प्लेटफॉर्म पर उनका डेब्यू है. "सभी कलाकारों ने मुझे भरपूर सहयोग दिया है.जया जी का सपोर्ट तो बहुत ज्यादा रहा.वह फ़िल्म और पॉलिटिक्स दोनो जगह स्टार रही हैं वावजूद इसके शूटिंग के सैट पर बहुत ज्यादा कोऑपरेटिव होती हैं. अच्छा से अच्छा रिजल्ट देने के लिए वह मेहनत से पीछे नही हटती और हमें उत्साहित करती हैं". 'फातिमा'- सीजन 1 की दस कड़ियां टेलीकास्ट के लिए तैयार हैं. सीजन 2 की पूरी राइटिंग और तैयारी की जा चुकी है. किसी बड़े ओटीटी प्लेटफॉर्म पर स्ट्रीम किए जाने की घोषणा जल्द होने वाली है.