एशियाई सिनेमा की विविधता और उत्कृष्टता का जश्न मनाने के लिए प्रसिद्ध बुसान इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल ने प्रतिष्ठित "ए विंडो इन एशियन सिनेमा" श्रेणी में फिल्म "जोरम" के चयन की घोषणा की है. यह उत्सव अक्टूबर में आयोजित किया जाएगा. यह रोमांचकारी उपलब्धि न केवल फिल्म की कलात्मक योग्यता को दर्शाती है बल्कि एशियाई सिनेमा की टेपेस्ट्री में इसके महत्वपूर्ण योगदान को भी उजागर करती है.
बुसान इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल में "ए विंडो इन एशियन सिनेमा" श्रेणी में "जोरम" को शामिल किया जाना फिल्म की उत्कृष्ट कहानी और विविध दर्शकों के साथ जुड़ने की क्षमता को रेखांकित करता है. मान्यता के लिए मनोज बाजपेयी की हार्दिक सराहना और फिल्म के चयन में देवाशीष मखीजा और शारिक पटेल का गौरव उस समर्पण और जुनून को उजागर करता है जो इस सिनेमाई उत्कृष्ट कृति को बनाने में लगा था. जैसे-जैसे त्योहार नजदीक आता है, दुनिया में "जोरम" की मनोरम कथा और कलात्मक प्रतिभा को देखने की उत्सुकता बढ़ जाती है, जो एशियाई सिनेमा की समृद्ध टेपेस्ट्री में एक खिड़की बनने का वादा करती है. फिल्म का निर्माण ज़ी स्टूडियोज और मखीजाफिल्म ने मिलकर किया है.
दिलचस्प बात यह है कि मनोज बाजपेयी अभिनीत इस फिल्म ने हाल ही में डरबन इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल में 'सर्वश्रेष्ठ अभिनेता का पुरस्कार' और 'सर्वश्रेष्ठ सिनेमैटोग्राफी पुरस्कार' भी जीता है. फिल्म का प्रीमियर इस साल की शुरुआत में रॉटरडैम में हुआ और हाल ही में सिडनी फिल्म फेस्टिवल और एडिनबर्ग इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल में भाग लिया.