प्रसिद्ध लेखिका कवयित्री पूजाश्री की लिखी पुस्तक 'योग कंवल' का विमोचन दुनिया भर में फेमस योग गुरु बाबा रामदेव के हाथों मुम्बई में किया गया। इस दौरान उन्होंने सिद्ध लेखिका कवयित्री पूजा श्री की सराहना की और कहा कि योग में ही मस्त परेशानियों की कुंजी है, जिसे पूजा श्री ने अपनी पुस्तक 'योग कंवल' के जरिये आगे बढ़ाने का काम किया है। दुनिया भर में योग के प्रति लोगों में काफी जागरूकता आयी है, फिर जो लोग योग से दूर भागते हैं। उन्हें समझ लेना चाहिये कि आज दुनिया भर में भारत की योग विद्या को लोग अपना रहे हैं। यह शुद्ध देसी तरीका है, मानव शरीर को स्वस्थ और तंदुरुस्त रखने का। योग आपको बाह्य और आंतरिक तंदुरुस्ती देता है।
उन्होंने कहा कि आज़ादी के बाद का यह सबसे बड़ा आंदोलन बन गया है और आज लगभग 20 करोड़ लोग मुझसे जुड़ कर योग का लाभ ले रहे हैं। वहीं, पुस्तक की लेखिका पूजा श्री ने भी पुस्तक के विमोचन जे लिए योग गुरु बाबा रामदेव का आभार व्यक्त किया और उन्हें अपनी प्रेरणा बताया। पूजा श्री ने कहा कि मैं बाबा रामदेव जी से काफी इंस्पायर्ड रही हूं। इस पुस्तक के लेखन की प्रेरणा भी उनसे ही मिली। इसके लिए मैंने बहुत मेहनत की है। अब यह पुस्तक लोगों के बीच है, उम्मीद है कि सबको पसंद आएगी।
लेखिका कवयित्री पूजाश्री ने कहा की योग केवल सिर्फ़ योग नही है मन और करम से भी योगा सीखा जा सकता है ! मालूम हो कि पूजा श्री का जन्म मारोठ राजस्थान में हुआ था। उन्होंने एम ए साहित्यरत्न हासिल है। और वे हिंदी तथा राजस्थानी भाषा में अब तक 20 पुस्तकों की रचना कर चुकी हैं। पांच पुरुस्कार और पांच सम्मान भी उनको साहित्य के क्षेत्र में मिल चुके हैं। यह सब जानकारी प्रेस विज्ञप्ति में प्रचारक संजय भूषण पटियाला ने दी ! .....छायाकार : रमाकांत मुंडे