राजधानी दिल्ली में स्वास्थ्य व सौंदर्य उत्पाद बनाने वाली कंपनी बायोसैश ने आज अपना नया प्रॉडक्ट वेल्सैश लॉन्च किया। महिला एवं बाल विकास मंत्रालय की केंद्रीय मंत्री मेनका गांधी, सी-बक्थॉन एसोसिएशन ऑफ इंडिया के सचिव प्रोफेसर वीरेंद्र सिंह, रेसलर संग्राम सिंह, आईपीएस दीपेंद्र पाठक व कंपनी के एम.डी. अर्जुन खन्ना इस अवसर पर मौजूद रहे।
वेल्सैश भारत का पहला मल्टीविटामिन व पूरी तरह से नैचुरल जूस है। इससे किसी भी तरह का कोई साइड इफेक्ट नहीं है। यह जूस सी-बक्थोर्न बेरी से बनाया गया है।
इस अवसर पर केन्द्रीय मंत्री मेनका गांधी ने कहा कि सी बक्थोर्न एक प्राकृतिक पौधा है जो शरीर को सभी बीमारियों से बचा सकता है। इस पौधे को लेकर सरकार सक्रिय कदम उठाने की कोशिश कर रही है। इस पौधे की खोज और इसकी उपयोगिता पर प्रोफेसर वीरेन्द्र सिंह गहरा अध्ययन कर चुके हैं और प्रमाणित किया है कि यह बाढ, रेडीएशन और गंभीर बीमारियों से बचाव में मुख्य भूमिका निभा सकता है। इस पौधे का प्रयोग चीन और रूस कर रहे है और इसका लाभ ले रहे है। इस पौधे से बनाया गया बायोसैश का वेल्सैश जूस एक सराहनीय प्रयास है। यह शरीर के हर विटामिन्स को पूरा करता है और बीमारियों से दूर रखता है। इस अवसर पर वेल्सैश के ब्रांड एम्बेस्डर व रेसलर संग्राम सिंह ने कहा कि जब मैं छोटा था तो कई बीमारियों से ग्रस्त था। कभी सोचा नहीं था कि मैं रेसलर बनूंगा। मुझे आज रेसलर बनाने में प्राकृतिक दवाओं का बहुत बड़ा योगदान है। आज बायोसैश के वेल्सैश जूस के साथ जुड़़कर मैं अपने आपको गौरवांवित महसूस कर रहा हूं, क्योंकि यह जूस पूरी तरह से प्राकृतिक है और सी बक्थोर्न बैरी से बना हुआ है। मैंने इसको प्रयोग किया है और इसे पीने के बाद मुझे पता चला कि यह मेरी इम्युनिटी बढ़ा रहा है। उसके बाद ही मैं इस जूस के साथ जुड़ा हूं। मैं इसके संचालक अर्जुन खन्ना का आभारी हूं, जिन्होंने मुझे इसके साथ जुड़ने का मौका दिया। मैं सबसे कहूंगा कि वेल्सैश जूस पियें और खुद को फिट व स्वस्थ बनायें।
इस अवसर पर कंपनी के संचालक अर्जुन खन्ना ने सभी अतिथियों का स्वागत करते हुए बताया कि आज वेल्सैश जूस पूरी तरह से भारत का पहला मल्टीविटामिन व नैचुरल जूस है। इसमें सारे विटामिन हैं, और इसकी एंटीऑक्सीडेंट क्षमता शरीर से जहरीले तत्वों को यानि फ्री रेडीकल्स को खत्म करने में सहयोग करती है। यह लाइफ चेंजर जूस सी-बक्थोर्न बेरी से बनाया गया है। हम हिमालय की दस हजार फीट की ऊंचाइयों से यह बेरी लेकर आते हैं। सी-बक्थोर्न हिमालय की उंचाई पर अत्यधिक कठोर परिस्थिति में पैदा होता है। सी-बर्क्थोन एक बहुत सुंदर, सुनहरी और संतरी रंग की बेरी है। सी-बक्थोर्न पेड़ की जड़ें जमीन में 200 फीट गहराई तक जाती है, जिस कारण सी-बक्थोर्न में भरपूर मात्रा में पोषक तत्व पाए जाते हैं।
उन्होंने बताया कि सी-बक्थोर्न बेरी में कैरोटीनॉयड, एंटीऑक्सीडेंट विटामिन, खनिज, पोलीफेनोल्स और फिटोस्टोल्स सहित बहुत से सुरक्षात्मक पोषक तत्व पाए जाते हैं। सी-बक्थोर्न प्राकृतिक आवश्यक फैटी एसिड ओमेगा 3, 6, और 9 के साथ-साथ दुर्लभ फैटी एसिड ओमेगा 7 का भी एक समृद्ध स्रोत है।
उन्होंने आगे बताया कि सी-बक्थोर्न की बेरी को तोड़ने से 6 घंटे के भीतर ही प्रोसेस लिया जाता है, ताकि इसकी गुणवत्ता को बरकरार रखा जा सके। बायोसैश सी-बक्थोर्न की गुणवत्ता को बनाये रखने के लिए आज भी पारम्परिक तरीकों का इस्तेमाल करती है।
बायोसैश के सभी स्वास्थ्य उत्पाद बिना किसी कृत्रिम रंग व स्वाद के तैयार किए जाते हैं। सभी उत्पादों का निर्माण कार्य नियंत्रित व सावधानीपूर्वक किया जाता है।
बायोसैश का लक्ष्य सी बक्थोर्न के सम्पूर्ण पोषक तत्वों का भरपूर स्वास्थ्य लाभ आप तक पहुंचाना है। बायोसैश अपने सी-बक्थोर्न से बने सभी उत्पादों में 100 प्रतिशत जंगली व प्राकृतिक सी-बक्थोर्न का इस्तेमाल करती है। इसके लिए बायोसैश को जम्मु एवं कश्मीर वन विभाग द्वारा जंगली सी-बक्थोर्न का प्रमाण पत्र भी हासिल है।