मराठी भाषा की सुपर हिट फिल्म ‘सैराट’ से इंस्पायर हो निर्माता करण जोहर और निर्देशक शशांक खेतान की फिल्म ‘धड़क’ में कुछ समानतायें दिखाई देती हैं। जैसे यहां भी फिल्म से दो नये सितारों जाह्नवी कपूर और इशान खट्टर ने बड़े पर्दे पर पदार्पण किया है। ये भी एक ऐसी लव स्टोरी है जो ऑनर किलिंग पर सवाल उठाती है।
राजस्थान के उदयपुर में एक मध्यम परिवार का लड़का मधू यानि इशान खट्टर और अमीर घराने के रतन सिंह यानि आशुतोष राणा की बेटी पार्थवी यानि जाह्नवी कपूर एक ही कॉलेज में पढ़ते हैं। दोनों के बीच प्यार हो जाता है। जब ये बात रतन सिंह को पता चलती है तो वो मधु को मरवा देना चाहता हैं लेकिन पार्थवी हिम्मत कर मधु को अपने पिता और भाई के चुंगल से छुड़ा लेती है। इसके बाद दोनों मुबंई आते हैं। इसके बाद नागपुर और फिर कोलकाता जाकर ये सफर खत्म होता है। वहां उनकी एक बंगाली कपल मदद करता है। दोनों वहां शादी कर एक घर भी खरीद लेते हैं और उनका एक बेटा भी हो जाता है। इस बीच पार्थवी के पिता को उनका पता चलता है तो पार्थवी का भाई अपने कुछ साथियों के साथ कोलकाता आता है। इसके बाद की कहानी जानने के लिये फिल्म देखनी होगी।
सैराट, मराठी में बनी अभी तक की सबसे कामयाब फिल्म मानी जाती है। इसका कई भाषाओं में रीमेक भी किया गया। हिन्दी में इसे बनाने से पहले निर्देशक ने कुछ फेर बदल किये। जैसे उसने बैकग्राउंड राजस्थान कर दिया। इसके अलावा यहां भी जाति और अमीरी गरीबी को दौहराया गया, लेकिन ये बात अंत तक रजिस्टर्ड नहीं हो पाती। पहला भाग काफी लंबा है लेकिन दूसरे भाग में कहानी आगे बढ़ती है और अपने अंत तक पहुंचती है। फिल्म में नयापन फ्रैश लोकेशन और फ्रैश चेहरों का होना है। कलाईमेक्स देखकर थोड़ी हैरानी जरूर होती है क्योंकि करण जौहर जैसे पारिवारिक और रोमानी फिल्म मेकर के टेस्ट से वो बिलकुल अलग है। संगीत की बात की जाये दो गीत सैराट से लिये गये हैं जो पहले ही काफी लोकप्रिय हो चुके हैं।
फिल्म में दो नये सितारे हैं। इनमें श्रीदेवी की बेटी जाह्नवी कपूर जो अपनी मां से कतई अलग है। पहली फिल्म के हिसाब से उसने अच्छा अभिनय किया है। शाहिद कपूर के भाई इशान खट्टर इससे पहले माजिद मजीद जैसे अंर्तराष्ट्रीय स्तर के डायरेक्टर की फिल्म कर अपने बेहतरीन एक्टर होने का सुबूत दे चुका है। यहां उसे अपनी उम्र की भूमिका मिली जिसे उसने बढ़िया तरीके से निभाया। बाकी सहयोगी कलाकारों में आशुतोष राणा, अंकित बिस्ट तथा श्रीधरन आदि ने उल्लेखनीय काम किया है।