Movie Review: एक्स्ट्रा मैरिटल अफ़ेयर्स के मतलब समझाने आ गई है परस्त्री! By Mayapuri Desk 30 Jun 2023 | एडिट 30 Jun 2023 12:42 IST in रिव्यूज New Update Follow Us शेयर निर्माता - शर्मीला पांडे लेखक - दीपेंद्र के. खनाल निर्देशन - सूरज पाण्डे संगीत - केके ब्रदर्स रिलीज़ डेट -30 जून 2023 रेटिंग - 3/5 इंसानों के इस व्यस्ततम ज़िन्दगी के कई ऐसे पहलू होते हैं जिनसे हर कोई सामंजस्य नहीं बैठा पाता और ऐसे में उस ज़िन्दगी को सुलझाने के चक्कर मे अच्छाई और बुराई में फ़र्क करना ही भूल जाता है , और तब उसे अपराध की दुनिया अपने तरफ़ खींच लेती है. ऐसी ही एक एक्स्ट्रा मैरिटल अफ़ेयर्स और उसके दुष्परिणामों को इंगित करती हुई इरोटिक क्राइम थ्रिलर फिल्म है परस्त्री. भारत मे पर स्त्री गमन या सिंपल भाषा मे ये कहें तो विवाहेत्तर सम्बन्ध किसी भी अन्य पुरुष या महिला के साथ हो जाये तो उसे समाज स्वीकार नहीं करता. यह एक संगीन अपराध है , और इस अपराध की जड़ ने कई घरों को तबाह कर दिया है. ऐसी ही एक कहानी के इर्द गिर्द ताना बाना बुनकर फ़िल्म परस्त्री के कथानक को बुना गया है. इस कथा में सस्पेंस, थ्रिल, मर्डर और सेक्स को समान रूप से परोसा गया है. फ़िल्म इंडो नेपाल में संयुक्त रूप से बनी हुई है. डीएस डिजिटल और नेन्दी क्रिएशन के बैनर तले बनी फिल्म परस्त्री की निर्माता हैं शर्मीला पांडे. फिल्म के सह-निर्माता पुष्पराज टी. न्यौपाने हैं. फिल्म के लेखक हैं दीपेंद्र के. खनाल वहीं इस फिल्म का निर्देशन सूरज पाण्डे ने किया है. फ़िल्म हिंदी और नेपाली दोनों ही भाषाओं में बनी है और आज 30 जून को इसे वर्ल्डवाइड 500 थियेटर में एकसाथ रिलीज़ किया गया है जिसमें अकेले भारत भर में ही लगभग 350 थियेटरों में प्रदर्शित किया जा रहा है. फ़िल्म को लेकर युवाओं के बीच ख़ासा क्रेज़ देखने को मिल रहा है. इस इंडो नेपाली इरोटिक क्राइम थ्रिलर फिल्म में भारत और नेपाल दोनों ही देशों के कलाकारों को अहम भूमिकाओं में इस फ़िल्म में चुनाव किया गया है. फिल्म में मुख्य रूप से शिल्पा मास्के, कोशिश छेत्री और गौरव बिष्ट महत्वपूर्ण किरदार निभाते दिखाई देंगे.फ़िल्म की कहानी की बात की जाए तो इस कहानी में अपराध है, सेक्स है, मर्डर है और फिर चेंजिंग थ्रिल भी है. ऐसे में युवा वर्ग अपने आपको जब इससे रिलेट करने लगे तो और क्या चाहिए. फ़िल्म हर फ्रेम में एक नई शैली के साथ नई पीढ़ी के दर्शकों के मनोरंजन के लिए ध्यान में रखकर बनाई गई है. इसलिए बहुत सारे लॉजिक लेकर थियेटर में यह फ़िल्म देखने ना जाएं. फ़िल्म में आज की तारीख़ में हो रहे दुनियाभर में पैटर्नल मर्डर मिस्ट्री को भी बेहद क्रूरता के साथ दिखाया गया है. इसको जब आप थियेटर में देखोगे तभी समझ मे आएगा। फ़िल्म के तकनीकी पक्ष में निर्देशन बढ़ियां है. एक युवा निर्देशक ने अपनी समग्र ऊर्जा और क्षमता के साथ ईमानदारी से मेहनत किया है. कैमरा एंगल का बेहतर इस्तेमाल इस फ़िल्म की सुंदरता को अच्छी रफ़्तार से आगे बढाने में सहायक सिद्ध हो रहा है. फ़िल्म का बैकग्राउंड स्कोर भी अच्छा बन पड़ा है , बस कहीं कहीं लाउडनेस थोड़ा अधिक सुनाई पड़ा. फिल्म परस्त्री को संगीतबद्ध किया है केके ब्रदर्स ने जिन्हें सुरों से सजाया है कुणाल गांजावाला, अमित मिश्रा और सोनल प्रधान ने. फिल्म के संगीत को B4U म्यूजिक द्वारा जारी किया गया है. फ़िल्म परस्त्री के गीत संगीत गाना ठीक-ठाक है लम्बे वक्त तक उसको याद किया जा सकता है. आज के जेनरेशन के हिंसाब से यह एक बेहतरीन फ़िल्म है. हमारे न्यूज़लेटर की सदस्यता लें! विशेष ऑफ़र और नवीनतम समाचार प्राप्त करने वाले पहले व्यक्ति बनें अब सदस्यता लें यह भी पढ़ें Advertisment Latest Stories Read the Next Article