मर्फी के नियम के अनुसार जो भी गलत होना है वो हमारी पूरी कोशिशों के बावजूद गलत ही होगा और ये नियम जेठालाल पर पूरी तरह से लागू होता है। जेठालाल सोचता पश्चिम है और होता उसके साथ पूरब है।
सुबह सवेरे तैयार होकर जेठालाल 'चटपटा' सोचकर नाश्ते पर बैठता है पर दया उसके सामने रख देती है टमाटर उपमा। जेठालाल तुरंत बहाना बनाता है कि उपमा से उसे एसिडिटी हो जाती है।
इतने में बबिता गाडा परिवार के लिए अपने हाथ का बना नाश्ता लाती है और वो भी उपमा ही निकलता है। अपने ही झूठ में फंसा जेठालाल बबिता के हाथ का उपमा नहीं खा पाता।
घर से निकल कर जेठालाल अपने दोस्त तारक को पकड़कर अपने साथ होटल में नाश्ता कराने ले जाता है। वो पाव भाजी और समोसे का सपना देख रहा है पर होटल में नाश्ते में खाली उपमा ही बचा है। परेशान और भूखा जेठालाल जब दुकान पर पहुंचता है तो देखता है कि बावरी सबके लिए नाश्ता लायी है।
अब सोचो कि डब्बा खुलने पर क्या निकलता है? क्या जेठालाल आज भूखा ही रह जायेगा? 'इतना ज्यादा उपमा देखकर तो शायद कोई भी इस डिश को नहीं खायेगा। शूटिंग के बाद कम से कम एक महीने तक तो मैं उपमा नहीं ही खा सकता,' हँसते हुए जेठालाल यानि के दिलीप जोशी ने कहा। इस ट्रैक का प्रसारण 15 सितंबर 2017 से 'तारक मेहता का उल्टा चश्मा' पर शुरू होगा।