‘बैंड बाजा बंद दरवाज़ा’ का कॉन्सेप्ट क्या है?
सच कहूं तो इसका कॉन्सेप्ट सही मायने में काफी दिलचस्प है और हॉरर कॉमेडी होने के बावजूद यह शो लोगों को हंसाता है। दरअसल हमारे शो का यह भूत बहुत ही प्यारा है।
अपने किरदार सरिता खुराना के बारे में कुछ बतायें।
सरिता एक आम नॉर्थ इंडियन मां है, जिसकी जिंदगी अपने पति, बच्चों, बेटे की शादी और वे क्या कहेंगे, इन्हीं सब चीजों के इर्द-गिर्द घूमती है। उसके काम तय हैं।
एक सफल शादी के बारे में आपका क्या सोचना है?
अब शादी के कई साल बीत जाने के बाद, मुझे ऐसा लगता है कि यह पूरी तरह से सामंजस्य है, जहां आप उन सामंजस्य को तय नहीं कर सकते। एक बार यदि आपने उनको गिनना शुरू कर दिया तो वे सामंजस्य बन जाते हैं, यदि आप उन्हें मन से करते हैं तो कुछ सालों के बाद वह आदत बन जाती है और इसे ही मैं एक सफल शादी कहूंगी।
‘बीबीबीडी’ बाकी हॉरर कॉमेडी शोज़ से किस तरह अलग हैं?
आमतौर पर मैंने जिस तरह के भूत/चुडै़ल देखी है उनका चेहरा बिगाड़ दिया जाता है। हालांकि, हमारे में सबसे बड़ा अंतर यही है कि यह भूत बेहद ही प्यारा है, पसंद आने वाला और बेशक मजाकिया है। इसे बहुत ही सरल तरीके से लिखा गया है लेकिन इसमें जीवन का सार है, जोकि इसे दर्शकों से जोड़ता है।
इस शो के बारे में आपको क्या चीज सबसे ज्यादा पसंद है?
सच कहूं तो मुझे इसकी सरलता और उसे बयां करने का तरीका पसंद आया। यह स्लैपस्टिक कॉमेडी नहीं है और उसमें जबर्दस्ती हंसाने के लिये डायलॉग ठूंसे नहीं गये हैं।
इस शो से आपकी क्या उम्मीदें हैं और दर्शकों को किस तरह की उम्मीदें होंगी?
हम हर शो इस उम्मीद के साथ करते हैं कि वह दर्शकों का पसंद आयेगा और ऐसी ही उम्मीद हमें इस शो से भी है। ‘बैंड बाजा बंद दरवाज़ा’ की शूटिंग के दौरान हमारे चेहरे पर ऐसी ही मुस्कुराहट रहती है और किसी को यह महसूस नहीं होता कि उन्हें जबरन हंसाया जा रहा है। कलाकारों के बीच काफी अच्छा तालमेल हो गया है और मुझे ऐसा लगता है कि यह परदे पर भी नज़र आयेगा और हमारे दर्शकों के दिलों तक पहुंचेगा।
इस शो के सभी किरदारों में आपका पसंदीदा किरदार कौन है?
नानी। उन्हें सबसे अच्छी लाइनें मिली हैं और वह इस शो में सबसे अच्छी किरदार हैं। मैं इस भूमिका को निभाने के लिये अपना दाहिना हाथ भी दे दूंगी।
आपने टेलीविजन पर मां की भूमिका में महारथ हासिल की है। तो क्या हम कह सकते हैं कि आप टेलीविजन पर सबसे चहेती मां हैं?
मैं इस पर यकीन करना चाहूंगी। मैं खुश हूं कि मैंने मां की भूमिका में महारथ हासिल कर ली है, क्योंकि मैंने बड़े बच्चों की मां की भूमिका निभाने से शुरुआत की थी, जबकि उस समय मेरे खुद के बच्चे बहुत छोटे थे। मुझे इस बात की बेहद खुशी है कि मैं अभी भी ऐसा कर पा रही हूं क्योंकि मुझे ऐसा लगता है हर प्रोजेक्ट के साथ आप बेहतर होते जाते हैं। मैं बस उम्मीद करती हूं कि मुझे इसी तरह स्वीकार किया जाता रहे।
‘बीबीबीडी’ के सेट पर शूटिंग का अनुभव कैसा रहा है?
यह अद्भुत है। जब हमने पहली बार इसे पढ़ा था उसी समय लगा था कि यह हिट होने वाला है। हर कोई अपने किरदारों में डूबा हुआ है। मुझे ऐसा लगता है कि उन्होंने बहुत ही अच्छी कास्टिंग की है।
क्या आप भूतों पर भरोसा करती हैं या आपका सामना कभी भूत/आत्मा से हुआ है?
हां, हुआ है। मैं ऐसी इंसान हूं कि ऐसी किसी चीज पर मैं कभी भरोसा नहीं करती लेकिन मेरे साथ सेट पर एक घटना हुई। काफी साल पुरानी बात है हम एमबीसी स्टूडियो में ‘भाभी’ की शूटिंग कर रहे थे। उस स्टूडियो में, हम उपलब्धता के अनुसार अलग-अलग मेकअप रूम का इस्तेमाल करते थे और उनमें मेकअप रूम का एक ऐसा सेट था, जिसके बारे में हर कोई कहता था कि वह भुतहा है। लेकिन मैं तो मैं थी, मैंने कभी भी ऐसी चीज पर भरोसा नहीं किया है। एक बार मुझे और मेरे दो अन्य साथी कलाकारों को दो सीन का ब्रेक मिला था और हम अपने छोटे से मेकअप रूम में आराम कर रहे थे। कुछ देर बाद जब मैं सो रही थी, मेरा मेकअप मैन आया और उसने यह कहकर मुझे जगाया कि उन्हें टच अप करना है तभी मैंने खटखटाने की आवाज सुनी थी। मेरी तुरंत ही यह प्रतिक्रिया थी कि मैंने जोर से अपने साथी कलाकारों से पूछा जोकि मेरे कमरे के पीछे थे कि वह खटखटा क्यों रहे हैं, लेकिन उन्होंने ऐसा करने की बात से इनकार कर दिया। जब मैं और मेरे मेकअप मैन कमरे से बाहर आये तो वह खटखटाहट और बढ़ गयी और हम देख सकते थे कि मेकअप रूम का बंद दरवाजा थरथरा रहा है। यह देखकर कि दरवाजा बाहर से बंद है और मैंने अंदाजा लगाया कि कोई अंदर बंद है और मैंने वॉचमैन को यह ना कहकर कि अंदर भूत है, ताला तोड़ने को कहा। दरवाजा खोलने पर हमने पाया कि अंदर कोई नहीं है ओर सभी बहुत डर गये।
यदि वास्तविक जीवन में संजीव जैसे भूत से आपकी मुलाकात हो तो आप उसका सामना कैसे करेंगी?
मैं उसे गले लगा लूंगी क्योंकि वह बहुत ही प्यारा है।
जो लोग आसानी से डर जाते हैं क्या आप उन्हें कुछ कहना चाहेंगी?
मैं कोई सलाह नहीं देना चाहूंगी, बस इतना ही कहूंगी कि वहां से भाग जाओ।
इस शो में आपके किरदार और वास्तविक जीवन में आपमें कोई समानताएं हैं?
एक कामकाजी महिला होने के अलावा, मुझे ऐसा लगता है कि काफी सारी समानताएं हैं। मैं अभी भी अपने बच्चों से उसी तरह जुड़ी हुई हूं और मुझे ऐसा लगता है कि मेरे पति मेरे तीसरे बच्चे जैसे ही हैं। साथ ही मुझे खाना खिलाना पसंद है। इसलिये, इस तरह से हां सरिता और नीलू कोहली काफी हद तक एक जैसी हैं, बस मैं मॉर्डन सरिता हूं।
क्या आप सोनी सब देखती हैं?
हां, मैं देखती हूं। मेरी बेटियां तो केवल सोनी सब ही देखती हैं और वह मुझे अपने दूसरे चैनल नहीं देखने देती हैं, क्योंकि उन्हें लगता है कि उनमें काफी ज्यादा ड्रामा या नेगेटिविटी है। यहां तक कि मेरी मां भी सोनी सब बहुत पसंद करती हैं।