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Bigg Boss 18 Shehzada Dhami : वाइल्ड कार्ड एंट्री का कोई लोजिक नहीं था

‘ये रिश्ता क्या कहलाता है’ और ‘बिग बॉस 18’ के ज़रिये लोगों के दिलों में राज करने वाले शहजादा धामी ने हाल ही में मायापुरी मैगजीन की पत्रकार शिल्पा पाटिल से ख़ास बात की...

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By Shilpa Patil
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Shehzada Dhami On His Eviction
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‘ये रिश्ता क्या कहलाता है’ और ‘बिग बॉस 18’ के ज़रिये लोगों के दिलों में राज करने वाले शहजादा धामी ने हाल ही में मायापुरी मैगजीन की पत्रकार शिल्पा पाटिल से ख़ास बात की. अपनी इस बातचीत के दौरान उन्होंने बिग बॉस के अपने एविक्शन, नायरा, अफरीन, करण, विवियन संग बांड, बिग बॉस में अपने सफ़र और वाइल्ड कार्ड एंट्री को लेकर अपने विचार रखें. क्या कुछ कहा उन्होंने आइए जानते हैं. 

आप बिग बॉस के अपने सफ़र को कैसे देखते है, आपने वहां जाने से पहले क्या कुछ सोचा था और आप उसमें से कितना कर पाएं?

मैंने बिग बॉस में जाने से पहले ज्यादा नहीं सोचा था. मेरे लिए यह एक नया अनुभव था, 18 लोगों के साथ एक ही घर में रहना, बिना फोन के, बिना बाहरी दुनिया से किसी कनेक्शन के. मुझे यह जानना था कि ऐसा कैसा लगता है और इस वातावरण में कैसे सर्वाइव किया जाता है. बिग बॉस आखिरकार एक सर्वाइवल गेम है. यह इस बात का खेल है कि आप टिक सकते हैं या नहीं. जब मैं घर में गया तो उस वक़्त यही मेरी मानसिकता थी. घर में जाकर मैं ठीक कर रहा था. मैं ऐसा व्यक्ति हूँ जो भूखा रह सकता हूँ, क्योंकि मैं अपनी डेली लाइफ में डाइटिंग करता हूँ, तो इस पहलू से मुझे कोई परेशानी नहीं हुई. मुझे और भी वक्त तक रुकना था, लेकिन अफसोस, मुझे एविक्ट कर दिया गया.

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क्या आप अपनी एविक्शन से निराश हैं?

हां, मुझे एविक्शन से बहुत निराशा हुई. मुझे उम्मीद नहीं थी कि मैं एविक्ट हो जाऊंगा. मुझे नहीं लगा था कि मुझे इतनी जल्दी बाहर कर दिया जाएगा. यह मुझे थोड़ा अजीब- सा लगा.

घर में आपने कुछ कंटेस्टेंट्स से कई बार बहस की, खासकर विवियन से. उनका यह मानना था कि आप पिछले शोज़ से कुछ लेकर बिग बॉस में आए हैं और उसी को खेल में इस्तेमाल कर रहे हैं. इस बारे में आपका क्या कहना है?

मैंने बिग बॉस में अपने पुराने शोज़ से कुछ भी नहीं लिया. अगर मैं ऐसा करता, तो मैं 'विक्टिम कार्ड' खेलता. लेकिन मैंने ऐसा नहीं किया. मुझे नहीं लगता कि ऑडियंस ने मुझे इस तरीके से देखा होगा. मैंने 'विक्टिम कार्ड' नहीं खेला. यह बस एक नरेटिव सेट करने की कोशिश थी. लोग एक खास धारणा बनाना चाहते हैं कि आप ऐसे व्यक्ति हैं. यही कोशिश थी, लेकिन मुझे लगता है कि वह नरेटिव फेल हो गया.

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बिग बॉस के दौरान यह कहा गया था कि यह रिश्तों का शो है. घर में कई सारी दोस्तियां और बांड बनते हैं. आपने भी कुछ दोस्ती बनाई थी, उनके बारे में आप क्या कहेंगे?

जी हां, मेरी अरफीन और नायरा से दोस्ती थी. यह बिग बॉस के घर के अंदर में बहुत अच्छी थी, क्योंकि हम सभी एक ही घर में थे. सुबह उठते थे, एक-दूसरे का चेहरा देखते थे—यह स्वाभाविक रूप से एक रिश्ता बना देता है. अब बाहर आने के बाद सभी लोग अपने-अपने काम में बिजी हैं. लेकिन वह बांड बना रहेगा.

घर में जो ग्रुप डिवीजन दिखाई दे रही है, जैसे करण, शिल्पा, चुम, श्रुतिका और दूसरे लोग. वे अपनी-अपनी अलायंसेज बना रहे हैं. इस बारे में आपका क्या कहना है?

कितनी देर तक ये अलायंसेज चलेंगे? आखिरकार आपको एक-दूसरे के खिलाफ खड़ा होना ही होगा. तब असली रिश्ते और बांड दिखेंगे. जो अब बन रहे हैं, वे कच्चे हैं. असल में तो तब पता चलेगा, जब आपको एक-दूसरे के खिलाफ खड़ा होना पड़ेगा. अभी समय है, देखते हैं क्या होता है.

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आपके हिसाब से कौन-सा कंटेस्टेंट स्ट्रोंग है?, क्योंकि अब तीन वाइल्ड कार्ड एंट्री भी हो चुकी हैं, मुकाबला और भी कड़ा हो गया है.

मुझे लगता है, वाइल्ड कार्ड एंट्री का कोई खास मतलब नहीं था. इसे लाने का कोई लोजिक नहीं था, क्योंकि ज्यादातर लड़ाईयाँ और मुद्दे तो पुराने कंटेस्टेंट्स के बीच में ही हो रहे थे. नए लोग तो आए हैं, वे इन पुराने मुद्दों को नहीं समझ सकते. वे पहले डेढ़ महीने तक एक-दूसरे को सहन कर रहे थे. ऐसे में जब आप खेल के बीच में होते हैं, तो नए लोगों के लिए उस रफ्तार को पकड़ पाना मुश्किल होता है.

यह यात्रा आपके लिए कैसी रही? इस यात्रा से आपने क्या सीखा?

मेरे लिए सबसे बड़ा अनुभव था बिग बॉस का अनुभव. यह समझने का कि बिग बॉस के घर के अंदर क्या होता है, वहां की टीम कैसे काम करती है, क्रिएटिव टीम कैसे काम करती है. यह मेरे लिए एक नई सीख थी. मेरी पर्सनल लाइफ में भी बदलाव आया है. अब मैं अपनी बात और बेहतर तरीके से रख पा रहाहूँ, और यह एक अच्छी बात है.

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अगर करण की बात करें, तो कई बार उनके बारे में अलग-अलग राय और जजमेंट्स आए हैं. वे कभी बहस के बीच में आकर माहौल को गड़बड़ कर देते हैं, याँ तिल्ली लगा देते हैं. आपने उनके साथ बातचीत की है, तो क्या आपको लगता है कि वह स्मार्ट खेल रहे हैं?

जी हां, वह स्मार्ट खेलते हैं. वो तिल्ली लगा के जाते हैं. 

आप अपने फैंस को क्या संदेश देना चाहेंगे? क्योंकि अब आपके दर्शक आपको टीवी या OTT प्लेटफार्म पर देखना चाहेंगे.

मैं अपने फैंस और ऑडियंस का धन्यवाद करता हूँ. आप लोग जो प्यार दे रहे हैं, उसे मैं सच्चे दिल से सराहता हूँ. आगे भी बहुत कुछ आ रहा है, तो मुझे उम्मीद है कि आप मुझे वैसे ही सपोर्ट करेंगे. मैं हमेशा आपके लिए अच्छा काम करने की कोशिश करूंगा.

आपको बता दें कि शहजादा धामी ने अपने करियर की शुरुआत साल 2020 में स्टार प्लस की सीरीज़ 'ये जादू है जिन्न का' से की थी. इसके बाद, उन्होंने कलर्स टीवी के शो 'छोटी सरदारनी' और 'शुभ शगुन' में भी काम किया है. इसके अलावा उन्होंने दो म्यूज़िक वीडियोज़ भी किए हैं.

witten by PRIYANKA YADAV

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