आशुतोष राणा: बॉलीवुड का सबसे खतरनाक विलेन और साहित्य में अवार्ड विजेता ताजा खबर:अशुतोष राणा, जिन्हें उनके दमदार अभिनय और गहरी संवाद शैली के लिए जाना जाता है, का जन्म 10 नवंबर 1967 को मध्य प्रदेश के गाडरवारा में हुआ था. उनका असली नाम अशुतोष राणा By Preeti Shukla 09 Nov 2024 in ताजा खबर New Update Listen to this article 0.75x 1x 1.5x 00:00 / 00:00 Follow Us शेयर ताजा खबर:अशुतोष राणा, जिन्हें उनके दमदार अभिनय और गहरी संवाद शैली के लिए जाना जाता है, का जन्म 10 नवंबर 1967 को मध्य प्रदेश के गाडरवारा में हुआ था. उनका असली नाम अशुतोष राणा रामनारायण नीखरा है. बचपन से ही उनका रुझान अभिनय की ओर था, और उन्होंने शुरुआती शिक्षा के बाद राष्ट्रीय नाट्य विद्यालय (एनएसडी) से थिएटर की पढ़ाई की. यहाँ उनके गुरु दिग्गज अभिनेता सत्यदेव दुबे थे, जिन्होंने उनके अभिनय को निखारने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई. उनकी शादी और व्यक्तिगत जीवन अशुतोष राणा का विवाह प्रसिद्ध अभिनेत्री रेणुका शहाणे से हुआ है. उनकी प्रेम कहानी भी काफी दिलचस्प है। दोनों की पहली मुलाकात निर्देशक हंसल मेहता के माध्यम से हुई थी।.रेणुका शहाणे ने पहले ही अशुतोष की अभिनय क्षमता को सराहा था और उनकी सरलता और सादगी ने उन्हें और आकर्षित किया. इसके बाद दोनों में गहरी मित्रता हो गई और उन्होंने 2001 में विवाह कर लिया. उनका रिश्ता इंडस्ट्री में एक आदर्श जोड़ी के रूप में देखा जाता है, और दोनों एक-दूसरे के करियर को भी समर्थन देते हैं। उनके दो बेटे हैं, और वे अपने परिवार के साथ समय बिताना पसंद करते हैं। टेलीविजन से शुरू किया काम अशुतोष ने अपने करियर की शुरुआत छोटे पर्दे से की और पहली बार उन्होंने रामानंद सागर की टेलीविजन सीरीज ‘स्वाभिमान’ में काम किया. इसके बाद उन्हें कई धारावाहिकों जैसे ‘फर्ज’, ‘वारिस’ और ‘साज़िश’ में भी देखा गया. छोटे पर्दे पर सफलता के बाद वे फिल्मों में खलनायक के रूप में अपनी जगह बनाने में सफल रहे. फिल्म ‘दुश्मन’ में साइको किलर की भूमिका फिल्म दुश्मन (1998) में अशुतोष राणा ने एक खतरनाक साइको किलर की भूमिका निभाई थी. यह किरदार भारतीय सिनेमा में उनकी पहचान बना गया. अशुतोष ने अपने इस रोल के लिए निर्देशक महेश भट्ट से वादा किया था कि वे इस किरदार को इतनी गंभीरता से निभाएंगे कि दर्शकों के मन में असली डर पैदा कर देंगे. इसके लिए उन्होंने किरदार के गहराई में जाने के लिए खुद को कुछ समय तक अलग-थलग रखा. सेट पर भी वे अधिकतर समय अपने किरदार में रहते थे ताकि वे उस मनोदशा को अच्छी तरह पकड़ सकें.एक साक्षात्कार में उन्होंने बताया कि इस रोल के लिए उन्हें मानसिक रूप से काफी कठिनाइयों का सामना करना पड़ा था. इस फिल्म में उनकी अदाकारी को बहुत सराहा गया, और इसके बाद उन्हें कई और फिल्मों में इसी तरह के डरावने किरदारों के लिए चुना गया. ‘संघर्ष’ में नेगेटिव रोल अशुतोष की पहचान केवल एक खलनायक तक सीमित नहीं रही. फिल्म संघर्ष में उन्होंने एक ऐसा किरदार निभाया जो प्रेतात्मा जैसा लगता है. इस फिल्म में उनके अभिनय ने सभी को चौंका दिया, और उन्हें एक खलनायक के रूप में और अधिक मान्यता मिली. यह रोल भी उनके लिए बहुत चुनौतीपूर्ण था क्योंकि इसमें मानसिक अस्थिरता के साथ-साथ गहरी भयावहता दिखानी थी. अशुतोष ने इस किरदार के लिए खुद को पूरी तरह से बदल लिया और किरदार की डिटेल्स पर काम किया, ताकि वे उसमें खो सकें और बेहतर तरीके से निभा सकें. जब आशुतोष को फिल्म संघर्ष के लिए मिला फिल्मफेयर अवॉर्ड फिल्म संघर्ष और दुश्मन में आशुतोष राणा का नेगेटिव रोल आज भी दर्शकों को याद है, अगर फिल्म संघर्ष की बात करें तो इसमें आशुतोष राणा ने एक किन्नर का रोल निभाया था जो बच्चों की बलि देकर अमर होना चाहता है. इस रोल को करने के बाद आशुतोष राणा बॉलीवुड के सबसे खतरनाक विलेन बन गए. खबरों की मानें तो महेश भट्ट ने फिल्म की शूटिंग से पहले ही आशुतोष राणा के लिए यह रोल लिख दिया था और यह भी कहा था कि इस फिल्म जैसा विलेन आज तक बॉलीवुड में नहीं देखा गया होगा और फिल्म संघर्ष के लिए आशुतोष राणा को फिल्मफेयर अवॉर्ड मिला था. अशुतोष राणा का लेखन और कविता अशुतोष केवल एक बेहतरीन अभिनेता ही नहीं, बल्कि एक अच्छे लेखक भी हैं. उन्होंने ‘मौन मुस्कान की मार’ नामक किताब लिखी है, जो उनकी कविता और विचारों का संकलन है. वे अक्सर अपनी कविताएं और लेख सोशल मीडिया पर भी साझा करते हैं, जिसमें वे भारतीय संस्कृति, जीवन के गहरे दर्शन और समाज के विभिन्न पहलुओं पर अपने विचार प्रकट करते हैं. उनकी कविताओं में गहराई और संवेदनशीलता दिखाई देती है, जिससे उनकी लेखनी को सराहा जाता है. जब महेश भट्ट ने आशुतोष राणा को सेट से भगा दिया एक इंटरव्यू के दौरान आशुतोष राणा ने बताया कि एक बार वह महेश भट्ट से मिलने गए थे. जब उन्होंने अपने संस्कार के अनुसार महेश भट्ट के पैर छुए तो महेश भट्ट उन पर भड़क गए और वहां मौजूद लोगों पर गुस्सा करने लगे कि मुझे अंदर किसने आने दिया. फिर मुझे वहां से बाहर निकाल दिया गया, लेकिन मैंने भी कभी हिम्मत नहीं हारी. जहां भी महेश भट्ट को देखता, उनके पैर छूने के लिए दौड़ पड़ता. एक दिन महेश भट्ट ने मुझसे पूछा कि तुम पैर क्यों छूते हो, मुझे इससे नफरत है. तब मैंने कहा कि बड़ों के पैर छूना मेरे संस्कार में है, जिसे मैं नहीं छोड़ सकता.यह सुनते ही उन्होंने मुझे गले लगा लिया. Read More Pushpa 2:लीक फोटो में अल्लू अर्जुन-श्रीलीला के गाने पर फैंस हुए क्रेजी Grammy Awards 2025: जानिए भारत से किन लोगों को मिला है नॉमिनेशन अजय देवगन ने किया 'शैतान', 'दृश्यम', 'धमाल' के सीक्वल्स को कन्फर्म? 'सिम्बा' बनेगा गोलमाल यूनिवर्स का हिस्सा? रोहित शेट्टी ने दिया रिएक्शन #happy birthday ashutosh rana #आशुतोष राणा #Ashutosh Rana हमारे न्यूज़लेटर की सदस्यता लें! विशेष ऑफ़र और नवीनतम समाचार प्राप्त करने वाले पहले व्यक्ति बनें अब सदस्यता लें यह भी पढ़ें Advertisment Latest Stories Read the Next Article