मशहूर फिल्म निर्देशक, पटकथा लेखक और निर्माता श्याम बेनेगल का सोमवार, 23 दिसंबर को मुंबई में निधन हो गया. उन्होंने शाम 6:38 बजे मुंबई सेंट्रल के वॉकहार्ट अस्पताल में अंतिम सांस ली. उनका अंतिम संस्कार आज मंगलवार को किया जाएगा.
काफी समय से बिमार चल रहे थे श्याम बेनेगल
आपको बता दें श्याम बेनेगल का मुंबई के वॉकहार्ट अस्पताल में क्रोनिक किडनी रोग के कारण निधन हो गया. उनका निधन शाम 6.38 बजे वॉकहार्ट अस्पताल मुंबई सेंट्रल में हुआ. पिया बेनेगल ने कहा, 'वह कई सालों से क्रोनिक किडनी रोग से पीड़ित थे, लेकिन यह बहुत खराब हो गया था.'
श्याम बेनेगल का करियर
बेनेगल को भारत सरकार ने 1976 में पद्म श्री और 1991 में पद्म भूषण से सम्मानित किया था. उन्हें 2005 में भारतीय सिनेमा का सर्वोच्च सम्मान दादा साहब फाल्के पुरस्कार भी मिला. उनकी सफल फिल्मों में मंथन, जुबैदा और सरदारी बेगम शामिल हैं. श्याम बेनेगल का जन्म 14 दिसंबर, 1934 को हैदराबाद में हुआ था. वे कोंकणी भाषी चित्रपुर सारस्वत ब्राह्मण परिवार से थे. उनके पिता श्रीधर बी. बेनेगल मूल रूप से कर्नाटक के थे और वे एक फोटोग्राफर थे, जिन्होंने श्याम को फिल्म निर्माण में शुरुआती रुचि के लिए प्रेरित किया. महज 12 साल की उम्र में श्याम ने अपने पिता द्वारा उपहार में दिए गए कैमरे का उपयोग करके अपनी पहली फिल्म बनाई. उन्होंने हैदराबाद के उस्मानिया विश्वविद्यालय से अर्थशास्त्र में मास्टर डिग्री हासिल की, जहां उन्होंने हैदराबाद फिल्म सोसाइटी की स्थापना की, जो सिनेमा में उनके शानदार सफर की शुरुआत थी. उनकी कुछ उल्लेखनीय कृतियों में अंकुर, मंथन, मंडी, नेताजी सुभाष चंद्र बोस: द फॉरगॉटन हीरो, जुबैदा, वेल डन अब्बा और बहुत कुछ शामिल हैं.
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