ताजा खबर: भारतीय परिवारों की गर्मजोशी, हलचल, नोंक-झोंक और गहरे भावनात्मक जुड़ाव पर आधारित कहानियां हमेशा दर्शकों को आकर्षित करती हैं. इन्हीं पारिवारिक रिश्तों के उतार–चढ़ाव और प्यारे-परेशान कर देने वाले पलों को निर्देशक अनुषा रिजवी अपनी नई फिल्म ‘द ग्रेट शम्सुद्दीन फैमिली’ (The Great Shamsuddin Family) में एक बार फिर दिखाने जा रही हैं. ‘पीपली लाइव’ जैसी चर्चित और समीक्षकों द्वारा सराही गई फिल्म बनाने के बाद अनुषा इस बार एक हल्की-फुल्की लेकिन भावनाओं से भरी कॉमेडी-ड्रामा लेकर आई हैं, जिसका ट्रेलर रिलीज होते ही दर्शकों की उत्सुकता बढ़ गई है.
कहानी का मज़बूत खाका: सिर्फ 12 घंटों में बदलती जिंदगी
फिल्म की कहानी एक ही घर की सीमित चार दीवारों के भीतर सिर्फ 12 घंटों में घटती है. यह समय इतना छोटा है, लेकिन इस दौरान परिवार के हर सदस्य की अपनी समस्या, अपना संघर्ष और अपनी भावनात्मक उथल-पुथल माहौल को लगातार बदलती रहती है.इस एक दिन में घर कभी युद्धभूमि जैसा लगता है, कभी मेले जैसा, और कभी एक भावनात्मक सफर जैसा जो परिवार के असली मायने दर्शाता है.हड़बड़ी, गुस्सा, प्यार, गलतफहमी, और हंसी–मजाक से भरे ये 12 घंटे दर्शकों को अपने ही घर की याद दिलाने में सक्षम हैं.
फिल्म में कृतिका कामरा मुख्य किरदार ‘बानी अहमद’ निभा रही हैं, जो परिवार की बड़ी बेटी है और एक उभरती हुई लेखिका के रूप में अपनी पहचान बनाने की कोशिश में है.बानी को एक महत्वपूर्ण प्रोजेक्ट पूरा करना है, जिसके लिए उसे एक शांत माहौल चाहिए—लेकिन उसके घर की हलचल उसके हर प्लान को बिगाड़ देती है.इस बीच, उसका एक्स-बॉयफ्रेंड भी उसी दिन अचानक आ पहुंचता है, जिससे उसकी जिंदगी में और भी कंफ्यूजन और तनाव बढ़ जाता है.ट्रेलर में दिखाया गया है कि बानी जीवन के एक ऐसे मोड़ पर खड़ी है, जहां उसे यह तय करना है कि वह अपने अमेरिका में करियर को चुनेगी या फिर अपने परिवार के प्रति अपनी जिम्मेदारियों को प्राथमिकता देगी.
सिंगल-लोकेशन फिल्म का अनोखा आकर्षण
फिल्म की एक खास बात है कि इसकी पूरी कहानी एक ही घर के भीतर फिल्माई गई है.शीबा चड्ढा ने बताया कि सीमित स्पेस फिल्म को और भी वास्तविक और रिलेटेबल बनाता है.यह सिंगल-लोकेशन सेटअप दर्शकों को परिवार के हर टकराव, हर हंसी, हर बहस और हर भावनात्मक पल के बेहद करीब ले जाता है.