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ताजा खबर: मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान श्री राम की अयोध्या नगरी हमेशा में हमेशा ही अध्यात्म को देखा गया है. लेकिन जबसे यूपी में भाजपा सरकार नरेन्द्र मोदी के मार्गदर्शन में योगी आदित्यनाथ ने उत्तर प्रदेश में कार्यभार संभाला है तभी से राज्य में एक नया विकास देखने के लिए मिल रहा है. वहीं मुख्य बदलाव अयोध्या में देखने को ज्यादा मिल रहा है. वर्ष 2017 से अयोध्या में लगातार विकास हो रहा है. जिसके बाद से तो राम की यह पावन नगरी निखर सी गई है.अयोध्या को विकास के नाम पर कई सौगातें मिली हैं, इसके अलावा आने वाले भविष्य यानी साल 2031 के मास्टर प्लान को भी मंजूरी मिल चुकी है.
बनाया गया मास्टर प्लान
वहीं सबसे महत्वपूर्ण विकास राम मंदिर को लेकर हुआ है जो कि सरयू नदी के निकट ही स्थित है. राम लला के भव्य प्राण प्रतिष्ठा समारोह के लिए अयोध्या सज धज के पूरी तरह तैयार है. जानकारी के लिए बता दें राम मंदिर के आस पास के एरिया पर भी उतना ही ध्यान दिया जा रहा है. इसके लिए एक मास्टर प्लान बनाया गया है इस प्लान में 134 वर्ग किलोमीटर क्षेत्र का विकास भी होगा. इसके अलावा अयोध्या का 31.5 वर्ग किलोमीटर के आस पास का इलाका भी विकसित हो रहा है.इस काम को समय पर पूरा करने के लिए सभी लोग चौबीस घंटे काम कर रहे हैं.
कई विभागों ने लिया हिस्सा
केंद्र और राज्य सरकार की 37 विभाग और 264 विभाग इस काम को संभाल रहे हैं. अभी तक प्रोजेक्ट में 31,662 करोड़ रुपये के सरकारी प्रोजेक्ट में पैसे खर्च हो चुके हैं. हालांकि पूरा काम लगभग अंतिम चरण पर है. सड़क नेटवर्क और बुनियादी ढांचे के सुधार के लिए 8,000 करोड़ रुपये का बजट तैयार हुआ है. जिससे लोगों को अयोध्या नगरी में पहुँचने के लिए कम समय लगे. वहीं कई सडकें अब बनकर तैयार भी हो चुकी हैं. मंदिर के अलावा पूरे शहर को एक नया रूप देने केई तैयारी हो रही है. जिसके लिए 3,500 भवनों को पैंट भी किया गया है इसके अलावा घर, दुकानें, सरकारी इमारतें, धार्मिक भवन, अस्पताल, पुलिस स्टेशन, कमर्शियल कॉम्प्लेक्स और कार्यालय पर भी उतना ही ध्यान दिया जा रहा है.
सडकें हुई चकाचक
सड़कों के बारे में बात करें तो मुख्य रूप से तीन सड़कों पर ध्यान दिया गया है जिसमे सबसे सबसे लंबा रामपथ है, जो लगभग 13 किलोमीटर तक फैला हुआ है. बता दें यह पथ सहादतगंज से शुरू होता है और नया घाट तक जाता है. इसके अलावा दूसरी सड़क राम जन्मभूमि पथ है, जो लगभग दो किलोमीटर की लम्बाई में बनी है. यह सड़क सुग्रीव किला को मंदिर से जोड़ती हैं. इसके बाद सबसे छोटा मार्ग आता है जो भक्ति पथ है जिसकी लंबाई 0.75 किलोमीटर है, जो श्रृंगार हाट को राम जन्मभूमि से जोड़ता है.
एअरपोर्ट का हुआ उद्घाटन
इसके अलावा अयोध्या पहुँचने के लिए एअरपोर्ट भी बनाया गया है.जिसका नाम महर्षि वाल्मीकि इंटरनेशनल एयरपोर्ट है. इससे बनने में लगभग 2 साल का समय लगा है. 30 दिसंबर के दिन इसका उद्घाटन भी हो चुका है. इस हवाई अड्डे से उड़ानें भी शुरू की जा चुकी हैं. देश के अलग अलग जगहों से आने वाले यात्रियों के लिए अब अयोध्या से कनेक्टिविटी बना दी गई है.
नए रेलवे स्टेशन अयोध्या धाम को मिली हरी झंडी
बता दें अयोध्या पहुँचने के लिए एक नया रेलवे स्टेशन बनाया गया है जिसका नाम अयोध्या धाम है. इसके अलावा भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण भी अयोध्या और उसके पड़ोसी जिलों के बीच कनेक्टिविटी सुधारने में जुटा है.
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