श्री राधे माँ चैरिटेबल सोसाइटी, नई दिल्ली की तरफ से ममतामयी श्री राधे माँ के जन्म दिवस के अवसर पर दिल्ली के रोहिणी स्थित जापानी पार्क में एक भव्य समारोह का आयोजन किया गया। इस गरिमामयी अवसर पर हजारों जरुररतमंदों को उनके जरूरत के अनुसार सामान वितरित किए गए।
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Sharad Rai
एवरग्रीन प्रोडक्शन की फ़िल्म 'लव युद'' का पहला टीजर सभी कलाकारों की उपस्थिति में रिलीज़ किया गया। फ़िल्म के लेखक-निर्देशक सनी कपूर हैं और निर्माता हैं एम.यू. जेठवा। फ़िल्म के कलाकार हैं - पायल, कबीर सिंह, राजू श्रेष्ठा,शिवा , आदिल खान, एंजेल यादव, कमलेश पांडि
पूरे देश में पिछले कुछ महीनों से कोहराम का माहौल है! पहले CAB (सिटिजन अमेंडमेंट बिल) पर संसद से गलियारे तक चर्चा चली, जो कानून बन गया और अब उसे CAA (सिटिजन अमेंडमेंट एक्ट) के नाम से यानी - ‘नागरिकता कानून’ के रूप में जाना जा रहा है। इसके बाद बहस और धरना श
बॉलीवुड नगरी-मुंबई में महाराष्ट्र ‘नव निर्माण सेना’ (मनसे) ने खुद को हिन्दुत्ववादी बताने के लिए अपने पार्टी-झंडे को भगवा रंग दिया है। दूसरी राजनैतिक-पार्टियां - बीजेपी, शिवसेना, वामपंथी या मुसलिम समर्थक पार्टियों ने भी यही तरीका अपना रखा है। ऐसे में, हमार
जब एक ही दिन दो फिल्में सिनेमा की खिड़की पर एक साथ खाता खोलती हैं तब दर्शकों के लिए सोचने का विषय बन जाता है कि वे किस थिएटर पर पहले जाएं और या किस पर नहीं जाएं! और, जब सितारों का पलड़ा दोनों फिल्मों में बराबरी का हो तो पर्यवेक्षकों के लिए भी तय करना मुश्कि
भवन्स ऑडिटोरियम में सत्यम आनंदजी का सेमी क्लासिकल प्रोग्राम था। उन्होंने गजल की एक तान छेड़ी थी- ‘फूल रस्मों की खातिर नहीं लाइये, फूल खिल जाएंगे आप आ जाइए।’ समूचा हॉल तालियों की गड़गड़ाहट से भर गया था। यह गजल थी- गीतकार मदन पॉल की लिखी हुई, जो सत्यम ने उसी द
पूरे देश में इस समय नागरिकता कानून (CAA) को लेकर हलचल है। ऐसे में, हमारी नजर जाती है बॉलीवुड पर - जहां के एक से एक बड़े नाम, आजादी के बाद भारत में आकर बसने वाली लिस्ट में हैं। जरा गौर कीजिए इन नामों पर और देखिये फिल्म उद्योग की झंडा बरदायी करने वाली ये शख्
पूरे देश में सिटिजन अमेंडमेंट एक्ट (CAA) को लेकर आग लगी हुई है. असम, कोलकाता, दिल्ली अलीगढ़, चेन्नई ,मुंबई में हर जगह हजारों की संख्या में इकट्ठे होकर लोग नए नागरिकता कानून का विरोध कर रहे हैं. तोड़फोड़, आगजनी पथराव पुलिससिया बल देखकर आम जनता स्तंभ है।
अगर रानी मुखर्जी करन जौहर के लिए लकी है तो सममान खान की ‘दंबग’ सीरीज के लिए एक छोटा कलाकार श्यामलाल उतना ही महत्व रखता है। ‘दबंग 3’ में एक फोटोग्राफर का करेक्टर था, जो गंभीर दृश्यों के समय भी फोटो खीचते आवाज देता था-‘भईया जी स्माइल!’ सलमान ने उसको फिल्म क
वाह रे मुंबई! यहां लड़के को लड़की मिल जाती है और लड़की को लड़का! लेकिन विवाह करने और विवाह के बाद रहने के लिए आलिया भट्ट को देखिये-दोनों स्टार हैं और स्टार पैरेन्ट्स के बच्चे है। विवाह करना चाहते हैं नये साल में लेकिन, कहाँ करेंगे जगह फाइनल नहीं हो पा रहा है।
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